क्रिकेट की दुनिया में बाउंड्री के पास लिए गए कैच को लेकर लंबे समय से चल रही बहस के बाद, मैरीलेबोन क्रिकेट क्लब (MCC) ने आखिरकार बाउंड्री कैच के नियम में महत्वपूर्ण बदलाव कर दिया है। यह फैसला खासतौर पर बिग बैश लीग (BBL) में मैट रेनशॉ, माइकल नेसर, और टॉम बैंटन जैसे खिलाड़ियों द्वारा लिए गए ‘असामान्य लेकिन वैध’ कैच को लेकर उठी विवादों के बाद लिया गया है।
नए नियम के अनुसार, अब कोई भी क्षेत्ररक्षक अगर सीमा रेखा से बाहर हवा में कूदते हुए गेंद को छूता है, तो उसे केवल एक बार ही गेंद को छूने की अनुमति होगी। और अगर वह गेंद को मैदान में फेंकना चाहता है या कैच पूरा करना चाहता है, तो उसे बाउंड्री के भीतर वापस उतरना जरूरी होगा। इसका अर्थ है कि अब ‘बनी हॉप’ स्टाइल में बार-बार हवा में गेंद को उछालते हुए सीमा के बाहर बने रहना और अंत में कैच पूरा करना अमान्य होगा।
यह नया नियम आईसीसी की खेल परिस्थितियों में 17 जून 2025 से लागू हो जाएगा और अक्टूबर 2026 से इसे आधिकारिक तौर पर एमसीसी के कानूनों में शामिल किया जाएगा।
2023 के बीबीएल में ब्रिसबेन हीट के खिलाड़ी माइकल नेसर ने सिडनी सिक्सर्स के जॉर्डन सिल्क का एक बेहद जटिल लेकिन नियमों के तहत वैध कैच लिया था। उन्होंने गेंद को कैच करते हुए हवा में उछालकर खुद को बाउंड्री के बाहर संभाला, फिर दोबारा हवा में छलांग लगाकर गेंद को वापस मैदान में भेजा और अंत में कैच पूरा किया। यह नियमों के अनुसार सही था, लेकिन इसने दर्शकों और विशेषज्ञों के बीच भारी बहस छेड़ दी कि क्या ऐसा कैच ‘खेल की भावना’ के अनुकूल है?
एमसीसी ने इस कैच की समीक्षा करते हुए माना कि हालांकि यह मौजूदा नियमों के तहत वैध था, लेकिन “यह महसूस हुआ कि फील्डर ने कैच पूरा करने के लिए बहुत दूर जाकर गेंद से संपर्क किया, जो खेल की नैतिक भावना के खिलाफ है।”
2010 से पहले नियम यह था कि यदि कोई खिलाड़ी गेंद को पहली बार छूने के बाद बाउंड्री के बाहर जाता है, तो वह दोबारा गेंद से संपर्क करने से पहले बाउंड्री के अंदर फिर से जमीन पर उतरना जरूरी होता था। हालांकि, 2010 में हुए संशोधन के बाद इसे आसान बना दिया गया था जिससे कुछ शानदार फील्डिंग देखने को मिली, लेकिन साथ ही विवादास्पद कैच भी।
कौन से कैच अब अवैध होंगे?
अगर कोई फील्डर सीमा रेखा के बाहर से कूदकर गेंद को हवा में बार-बार छूता है। रिले कैच में भी, अगर पहला फील्डर गेंद को सीमा के बाहर रहते हुए एक से ज्यादा बार छूता है और फिर टीम के साथी द्वारा कैच पूरा किया जाता है। यदि कोई फील्डर गेंद से संपर्क के बाद बाउंड्री के बाहर गिरता है या वहां पैर रखता है, तो कैच अमान्य माना जाएगा और बाउंड्री दी जाएगी।
ऑस्ट्रेलियाई तेज गेंदबाज जॉश हेजलवुड जैसे कुछ खिलाड़ियों ने सुझाव दिया था कि नियम को 2010 से पहले की स्थिति में लौटा देना चाहिए, लेकिन एमसीसी ने इसे “बहुत कठोर” कहा। उन्होंने संतुलन साधते हुए एक ऐसा नियम बनाया जो खेल की भावना और शानदार फील्डिंग दोनों को बनाए रखने की कोशिश करता है।
नए नियम का असर:
नए नियम के बाद अब फील्डर्स को सीमा रेखा के पास ज्यादा सतर्क रहना होगा और बार-बार हवा में छलांग लगाकर गेंद को संभालने की रणनीति अब काम नहीं आएगी। यह बदलाव दर्शकों की उम्मीदों, खेल की नैतिकता और रचनात्मक फील्डिंग के बीच एक संतुलित समाधान प्रदान करता है।
निश्चित रूप से, यह बदलाव आने वाले वर्षों में कई रोमांचक पल पैदा करेगा, लेकिन अब क्षेत्ररक्षकों को बाउंड्री लाइन के पास अपने कौशल को और निखारना होगा – क्योंकि अब नियम और कड़े हो गए हैं।
यह भी पढ़ें:
कैसे काम करेगी एयर इंडिया AI-171 विमान हादसे की उच्चस्तरीय जांच समिति?
राम मंदिर पर 1621 करोड़ खर्च; निर्माण अप्रैल 2026 तक होगा पूरा!
राउरकेला में नक्सल विरोधी अभियान के दौरान IED विस्फोट जवान शहीद
एआई-171 हादसा: संजय राऊत ने साइबर हमले की आशंका जताई, राजनीतिक तूफान!



