भारत में अंग्रेजी शासन के दौरान अंग्रेज कई बहुमूल्य वस्तुएं ले गए थे। जिसके बाद समय समय पर उन्हें लाने की मांग उठती रही है।इन्हीं बहुमूल्य वस्तुओं में से एक था कोहिनूर हीरा जो ब्रिटिश महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के क्राउन में लगा हुआ था। उनके निधन के बाद एक बार इस हीरे को भारत लाने की मांग तेज हो गई है। इस संबंध में भारत सरकार ने अपना जवाब दिया है। सरकार का कहना है कि हीरे को लाने के तरीके का पता लगाया जा रहा है। सरकार ने यह भी कहा कि मुद्दे को समय समय पर यूके सरकार के सामने उठाया भी जाता रहा है।
गौरतलब है कि पिछले दिनों ब्रिटिश की महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का निधन हो गया था। जिसके बाद से उनके क्राउन में लगे बेस कीमती कोहिनूर को भारत लाने की मांग की जा रही है। अब इस मामले पर केंद्र सरकार ने अपना रुख साफ़ किया है। इस संबंध में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि इस मामले में कुछ साल पहले सरकार ने अपनी बात संसद में कही थी। उन्होंने कहा कि इस मुद्दे को यूके के समक्ष उठाया जाता रहा है। साथ ही कोहिनूर को भारत लाने के लिए संतोषजनक समाधान तलाशे जा रहे हैं।
वैसे ब्रिटेन सिर्फ कोहिनूर हीरा ही नहीं है. बल्कि और कई ऐसी वस्तुएं जिसको उन देशों से चुराया गया है जहां ब्रिटिश ने राज किया है। जिसमें भारत ग्रीस मिस्र और अफ़्रीकी देश शामिल हैं। इसके अलावा मीडिया रिपोर्ट में यह भी कहा जाता है कि टीपू सुलतान की भीं अंगूठी ब्रिटिश सेना ले गई। कहा जाता है कि युद्ध हारने के बाद ब्रिटिश सेना ने टीपू सुलतान की अँगुठी चुरा ली। जिसे नीलाम कर दिया गया है और उसे खरीदने वाले का कोई अता पता नहीं है।
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