-प्रशांत कारुलकर
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) अपने महत्वाकांक्षी गगनयान मिशन के साथ इतिहास रचने की तैयारी में है। गगनयान मिशन का लक्ष्य भारत को रूस, अमेरिका और चीन के बाद अंतरिक्ष में मनुष्यों को भेजने वाला चौथा देश बनाना है। यह मिशन भारतीय अंतरिक्ष कार्यक्रम के लिए महत्वपूर्ण है और राष्ट्रीय गौरव का गुणगान होगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को चार अंतरिक्ष यात्रियों को अंतरिक्ष यात्री सम्मान प्रदान किए और उन्हें दुनिया के सामने पेश किया। चुने गए अंतरिक्ष यात्रियों में ग्रुप कैप्टन प्रशांत नायर, ग्रुप कैप्टन अंगद प्रताप, ग्रुप कैप्टन अजित कृष्णन और ग्रुप कैप्टन शुभांगशु शुक्ला शामिल हैं।
इस घोषणा के साथ, गगनयान मिशन के लिए इंतजार खत्म हो गया है, जो भारत को अंतरिक्ष में मानवयुक्त उड़ान भेजने वाला चौथा देश बनाएगा। ये चारों अंतरिक्ष यात्री भारतीय वायु सेना के टेस्ट पायलट हैं और उन्हें कठिन प्रशिक्षण से गुजारा जाएगा ताकि वे अंतरिक्ष की यात्रा के लिए पूरी तरह तैयार हो सकें।
मिशन के उद्देश्य-
स्वदेशी तकनीक का प्रदर्शन: गगनयान मिशन भारत के लिए अंतरिक्ष में मानव उड़ान के लिए आवश्यक तकनीकों को विकसित करने और प्रदर्शित करने का एक अवसर है। इसमें क्रू एस्केप सिस्टम, लाइफ सपोर्ट सिस्टम और अंतरिक्ष यात्रियों को अंतरिक्ष के खतरों से बचाने की क्षमता शामिल है।
वैज्ञानिक प्रयोग: मिशन भारतीय अंतरिक्ष यात्रियों को माइक्रोग्रैविटी वातावरण में प्रयोग करने की अनुमति देगा। इन प्रयोगों से हमें गुरुत्वाकर्षण के मानव शरीर विज्ञान पर प्रभावों के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी मिल सकेगी।
अंतर्राष्ट्रीय सहयोग: गगनयान मिशन अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष समुदाय के साथ सहयोग के नए रास्ते भी खोलेगा। भारत पहले से ही इस मिशन के लिए फ्रांस सहित कई देशों के साथ काम कर रहा है।
भारत के लिए महत्व-
तकनीकी प्रगति: गगनयान मिशन जीवन समर्थन, पर्यावरण नियंत्रण, संचार और रिकवरी संचालन जैसे क्षेत्रों में भारत की तकनीकी प्रगति को गति देगा। इन तकनीकों के अन्य क्षेत्रों में भी व्यावहारिक उपयोग होंगे।
राष्ट्रीय गौरव: एक सफल गगनयान मिशन भारत की बढ़ती वैज्ञानिक और तकनीकी ताकत का प्रदर्शन करेगा। यह राष्ट्रीय गौरव का स्रोत होगा और युवा भारतीयों को विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में करियर बनाने के लिए प्रेरित करेगा।
आर्थिक अवसर: गगनयान मिशन के परिणामस्वरूप अंतरिक्ष प्रौद्योगिकियों के व्यावसायीकरण के नए अवसर पैदा होने की संभावना है। इससे आर्थिक विकास को बढ़ावा मिलेगा और भारत के लिए नई नौकरियां पैदा होंगी। गगनयान मिशन भारत के अंतरिक्ष कार्यक्रम में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। यह महत्वाकांक्षा, नवाचार और खोज की भावना का प्रदर्शन करता है जो भारत को एक वैश्विक अंतरिक्ष शक्ति के रूप में उभरने के लिए प्रेरित कर रहा है।
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