श्रद्धा हत्या कांड के आरोपी आफताब का सोमवार को नार्को टेस्ट नहीं हो सका। लेकिन, इस बीच श्रद्धा के कटे सिर की पुलिस ने तलाश तेज कर दी है। बताया जा रहा है कि आफताब ने यह कबूल किया है कि दिल्ली के मैदानगढ़ी तालाब में उसने श्रद्धा का सिर फेंका है। जिसको पुलिस खाली कर या गोताखोरों से ढूंढ सकती है।
लोग पूछ रहे हैं कि आखिर आफताब का परिवार कहां है, उसके बारे में कोई खुलासा क्यों नहीं हो रहा है। आफताब के परिवार के बारे में कोई जानकारी मीडिया में क्यों नहीं आ रही हैं। इस मामले में अभी तक आफताब का परिवार सामने नहीं आया है। लोगों का कहना है कि इस मामले में केवल श्रद्धा के लिव इन रिलेशनशिप में रहने की बातों को ही उछला जा रहा है। अभी तक यह पता नहीं चल पाया है कि आफताब की करतूत से उसका परिवार मुंह क्यों छुपा रहा है।
लोगों ने सवाल उठाया कि दिल्ली पुलिस द्वारा इस मामले में रोज नए खुलासे हो रहे हैं। आफताब के परिवार ने इस घटना पर अभी तक कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है और न ही सामने आया है। आफताब श्रद्धा की हत्या कर छह माह तक उसके 35 टुकड़ों को ठिकाने लगाता रहा। लेकिन क्या आफताब के बारे में उसके घरवालों को कोई जानकारी नहीं थी।ऐसा कैसे हो सकता है। अगर इस घटना की जानकारी नहीं भी थी तो उसका परिवार अभी तक सामने क्यों नहीं आया। लोगों ने सवाल उठाते हुए पूछा कि क्या कोई सोची समझी साजिश तो नहीं है। जिसमें पूरा परिवार शामिल तो नहीं है ?
लोगों ने कहा कि श्रद्धा की हत्या के बाद उसके पिता को जानकारी श्रद्धा के दोस्त ने दी थी। श्रद्धा के दोस्त ने उसके पिता को बताया था कि कुछ समय से श्रद्धा का फोन बंद आ रहा है। इसके बाद उसके पिता ने शक के आधार पर पहले मुंबई में श्रद्धा के गायब होने का मामला दर्ज कराने पहुंचे थे, जिसे बाद इस मामले को दिल्ली ट्रांसफर कर दिया गया था। जबकि, आफताब के अभी तक एक भी दोस्तों की जानकारी सामने नहीं आई है। हालांकि कुछ दोस्तों से उसके ड्रग्स, गांजा और चरस लेने की जानकारी मिली है। लेकिन उसके ख़ास दोस्तों के बारे में अभी तक कुछ भी जानकारी हासिल नहीं हो पाई है।
वहीं, श्रद्धा के पिता विकास वालकर ने आरोप लगा है कि जब वे श्रद्धा की शादी के बारे में आफताब के परिवार वालों से मिलने गए थे तो आरोपी के घर वालों ने उसका अपमान किया था। ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि आखिर पुलिस आफताब के परिवार की तलाश क्यों नहीं कर रही है। क्योंकि श्रद्धा की हत्या का मामला सामने आने के दो सप्ताह पहले ही आफताब का परिवार मुंबई छोड़ दिया था। गौरतलब है कि श्रद्धा की हत्या का मामला 11 नवम्बर को सामने आया था। इससे पहले ही यानी दो सप्ताह पहले ही आफताब का परिवार वसई वेस्ट के अपने दीवनमान घर को छोड़कर चला गया है। इतना ही नहीं आफताब अपने परिवार से मिला भी था और उन्हें सही सलामत निकाला भी। इससे साफ़ है कि आफताब के परिवार को श्रद्धा की हत्या के बारे में पूरी जानकारी है। साथ ही आफताब का परिवार इस घटना में जरूर शामिल है।
अगर पुलिस आफताब के परिवार को छोड़ती है तो वे देश छोड़कर भी जा सकते हैं। ऐसा भी हो सकता कि पूरा परिवार देश से बाहर ही न चला गया हो। पुलिस को चाहिये कि आफताब के साथ उसके परिवार की सघन जांच करे। जिससे कई अनकही बाते सामने आ सकती हैं। जो कड़ियां अभी तक नही जुड़ पाई हैं शायद उसका परिवार उन कड़ियों को जोड़ सके।
बहरहाल, अगर नार्को टेस्ट होता है तो इसे अदालत सबूत के तौर पर नहीं मानेगी। क्योंकि भारत में नार्को टेस्ट असंवैधानिक है। 22 मई 2010 को केस में सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट ने नार्को टेस्ट को अमानवीय और क्रूर बताया था। हालांकि यह टेस्ट कोर्ट के आदेश पर होगा। बताया जाता है कि टेस्ट से पहले आफताब को एक केमिकल दिया जाएगा उसके बाद उसका टेस्ट किया जाएगा। ऐसे में सवाल उठ रहे है कि आखिर यह टेस्ट क्यों करा रही है। तो बताया जा रहा है कि आफताब बार बार अपना बयान बदल रहा है। इसलिए पुलिस ने अदालत से अनुमति लेकर नार्को टेस्ट कराएगी। जिससे जांच में पुलिस को मदद मिलेगी। कहा जा रहा है कि आफताब को टेस्ट से पहले दिये जाने वाले केमिकल से वह आधा बेहोश हो जाएगा। इस दौरान वह जो भी कहेगा वह झूठ नहीं रहेगा क्योंकि इस समय वह अपना दिमाग नहीं चला पायेगा। यानी जानबूझकर झूठ नहीं बोल पायेगा।