जापान, पापुआ न्यू गिनी और ऑस्ट्रेलिया की यात्रा के समापन के बाद गुरुवार तड़के दिल्ली लौटे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पालम हवाई अड्डे पर भव्य स्वागत हुआ। एयरपोर्ट पर पहुंचने के बाद पीएम मोदी ने वहां मौजूद भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा एवं अन्य सांसदों से मुलाकात की। विदेश मंत्री एस.जयशंकर भी यहां पहुंचे थे। इसके बाद पीएम मोदी ने एयरपोर्ट के पास उनका स्वागत करने पहुंचे भाजपा कार्यकर्ताओं को संबोधित किया।
प्रधानमंत्री ने अपने ऑस्ट्रेलिया में हुए कार्यक्रम का जिक्र करते हुए कहा कि सिडनी में उन्हें सुनने के लिए 20,000 लोग इकट्ठा हुए थे। इतना ही नहीं, ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज भी दर्शकों में शामिल थे। इसके अलावा ऑस्ट्रेलिया के पूर्व पीएम और पूरा विपक्ष अपने देश के खातिर साथ में मौजूद थे।
प्रधानमंत्री ने कहा, मैं दुनिया के देशों में जाकर दुनिया के महापुरुषों से मिलकर हिंदुस्तान के सामर्थ्य की बात करता हूं। उन्होंने कहा, इस यात्रा के दौरान जितना समय मुझे उपलब्ध था, उसका पल-पल मैंने देश की बात करने में, देश की भलाई के लिए निर्णय करने में अपना समय पूरी तरह से उपयोग किया।
पीएम मोदी ने अपने संबोधन में कहा कि जब मैं यह कहता हूं कि हमारे तीर्थ क्षेत्रों पर हमले स्वीकार नहीं हैं तो दुनिया भी मेरे साथ दिखती है। ऑस्ट्रेलिया आज भारत को अपना मानता है, भारत को सम्मान से देखता है और वो भारत के भविष्य के साथ अपना भविष्य जोड़ कर देखता है। ये यश मोदी का नहीं है, हिंदुस्तान के पुरुषार्थ का है, 140 करोड़ हिन्दुस्तानियों के जज्बे का है।
पीएम ने कहा, देश के कुछ लोगों ने मुझसे पूछा कि मैंने दुनिया को कोविड वैक्सीन क्यों दी। मैं कहना चाहता हूं कि यह महात्मा बुद्ध और गांधी की धरती है। हम अपने दुश्मनों की भी परवाह करते हैं, आज दुनिया जानना चाहती है कि भारत क्या सोच रहा है।
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