वक्फ बिल संशोधन और एक करोड़ से अधिक मिले फीड बैक को लेकर भाजपा सांसद ने चिंता जताई है| भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने बिल और उसके फीड बैक पर कट्टरपंथी संगठनों, जाकिर नाईक जैसे व्यक्तियों और आईएसआई और चीन जैसी विदेशी ताकतों के साथ साथ उनकी संलिप्तता की भूमिका की जांच करने की मांग की है|
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे भी संसदीय समिति के सदस्य हैं। वक्फ (संशोधन) विधेयक की जांच कर रही संसदीय समिति को करीब सवा करोड़ फीडबैक मिलने पर भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने चिंता जताई है। उन्होंने आशंका जताई है कि इनके पीछे पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई और चीन की भूमिका हो सकती है। इसको दुबे ने वक्फ बिल की जांच कर रही समिति के अध्यक्ष जगदंबिका पाल को पत्र लिखा है।
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने वक्फ बिल पर मिले एक करोड़ से ज्यादा फीडबैक पर चिंता जताई है। दरअसल, संसदीय कार्य और अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रिजिजू ने 8 अगस्त को लोकसभा में वक्फ बिल 2024 पेश किया था।
जेपीसी ने बिल में सुधार के लिए फीडबैक मांगा था। अब तक सवा करोड़ सुझाव आएं हैं। हालांकि निशिकांत दुबे ने फीडबैक की संख्या पर सवाल उठाए। दुबे का आरोप है कि, ये आंकड़े चौंकाने वाले हैं। इसमें आईएसआई और चीन का हाथ हो सकता है। उधर अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रिजिजू ने भी आंकड़ों पर हैरानी जताई थी। दुबे का दावा है कि, यह असंभव है कि अकेले भारत से सवा करोड़ रिएक्शन मिलें। उन्होंने कहा, ‘मेरा मानना है कि ज्वाइंट पार्लियामेंट्री कमेटी को हमारी विधायी प्रक्रिया की अखंडता और स्वतंत्रता सुनिश्चित करनी चाहिए।
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