राजनीति का पूरा पैटर्न बदल गया है, इसकी शुरुआत ठाकरे से हुई थी…!

​बदलते स्वरूप में क्या बदलेगा, हमने देखा है​|​ इस पैटर्न की शुरुआत उद्धव ठाकरे ने की थी| एनसीपी, कांग्रेस और शिवसेना ने यही पैटर्न देखा|  आखिरी काम भाजपा ने किया है| यह एक पैटर्न परिवर्तन की शुरुआत थी| बच्चू कडू ने ये भी कहा है कि लोगों को ये सब हजम नहीं हो रहा है|

राजनीति का पूरा पैटर्न बदल गया है, इसकी शुरुआत ठाकरे से हुई थी…!

“The whole pattern of politics has changed, it started with Uddhav Thackeray…”; Criticism of Bachchu Kadu!

कांग्रेस को तोड़ने की जरूरत नहीं है|​​ क्योंकि बच्चू कडू ने बयान दिया है कि उनमें से कुछ आने के लिए तैयार हैं|​​ राजनीति में एक नया पैटर्न आ गया है|​​​ ​पहले लोग धोती पहनते थे और फिर पैंट पहनने लगे। वैसे ही अब राजनीति का पैटर्न भी बदल रहा है|​ ​बदलते स्वरूप में क्या बदलेगा, हमने देखा है|इस पैटर्न की शुरुआत उद्धव ठाकरे ने की थी| एनसीपी, कांग्रेस और शिवसेना ने यही पैटर्न देखा|आखिरी काम भाजपा ने किया है| यह एक पैटर्न परिवर्तन की शुरुआत थी| बच्चू कडू ने ये भी कहा है कि लोगों को ये सब हजम नहीं हो रहा है|

हर कोई चाहता है कि उसकी पार्टी बढ़े: हर पार्टी चाहती है कि उसकी पार्टी बढ़े और वह पार्टी बढ़े|ऐसा महसूस करने में कुछ भी गलत या ग़लत नहीं है। अब बात दो तरफ है|पहले राजनीति में किनारे की बातें नहीं रहती थीं| हम देखते हैं कि शक्ति और विचार मेल नहीं खाते। इसलिए हर कोई अपने-अपने तरीके से कदम उठा रहा है|

केंद्र में हमारे रहते हुए शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी सत्ता में आ सकती हैं और मुख्यमंत्री बन सकती हैं। 2022 में ट्रेलर तो देखा ही था, अब पिक्चर भी लोगों ने देख ली है. एनसीपी की सोच सर्व धर्मनिष्ठ और प्रगतिशील है| शिवसेना और बीजेपी की विचारधारा हिंदुत्व है, लेकिन बच्चू कडू ने ये भी कहा है कि ऐसा लगता है कि सत्ता के लिए सभी ने अपनी सोच को किनारे रख दिया है|

हर कोई कर रहा है इंतजार: सिर्फ भरत गोगांव ही नहीं बल्कि कई अन्य लोग भी इस वक्त फोन का इंतजार कर रहे हैं। दो सांसद बैठे थे वो बात कर रहे थे क्या आपका फोन आया? एक ने झूठ बोला, मेरे पास फोन आया|इसके बाद चार-पांच लोग दिल्ली भाग गये| फ़ोन का इंतज़ार करना नतीजे का इंतज़ार करने जैसा है| हर कोई मंत्री बनना चाहता है|उन्हें इंतज़ार करने में क्या दिक्कत है? कडू ने यह भी कहा है कि हर कोई अच्छे कॉल का इंतजार कर रहा है|

मैं बिल्कुल क्रोधित नहीं हूं, आदि: गंगा पानी मिलाकर नहीं बहती। हम किसी भी चीज़ की उपेक्षा नहीं करते| हमने कड़ी मेहनत की है और अपने दम पर आगे आये हैं|’ प्रत्येक व्यक्ति अपने कार्य का नियन्त्रण रखता है। सिर्फ इसलिए कि कोई हमें नजरअंदाज न कर दे, हम डूबने वाले नहीं हैं। मेरे पास परेशान होने का कोई कारण नहीं है, हम सबने पढ़ाई की है|मैंने बार-बार कहा है कि मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री से पूछिए कि मंत्रिमंडल का विस्तार कब होगा|हम लाइन में खड़े हैं और आप हमसे पूछ रहे हैं|
 
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