उत्तर प्रदेश के संभल ज़िले के चंदौसी कस्बे में शनिवार को नगर पालिका की ज़मीन पर बने अवैध निर्माणों को हटाने गई प्रशासनिक टीम को एक अंग्रेज़ी मीडियम स्कूल में कथित पशु‐कुर्बानी के प्रमाण मिलने से क्षेत्र में हड़कंप मच गया। कार्रवाई का नेतृत्व कर रहे एसडीएम विनय कुमार मिश्रा और सीओ अनुज चौधरी भारी पुलिस बल के साथ वारसी नगर पहुँचे थे, जहाँ उन्होंने पहले से चिन्हित अवैध मकानों के निरीक्षण के बाद तोड़फोड़ के निर्देश दिए।
निरीक्षण के दौरान अधिकारियों की निगाह पास ही स्थित रॉयल इंग्लिश स्कूल पर पड़ी। जब पुलिस ने स्कूल परिसर की तलाशी ली तो वहाँ से गोबर, तेल‑घी और किराना सामान बरामद हुआ। पूछताछ में स्कूल संचालक ने अधिकारियों को बताया कि परिसर के भीतर हाल ही में ईद के मौके पर जानवर की ‘कुर्बानी’ दी गई थी। इस पर अफ़सर दंग रह गए और तत्काल उच्चाधिकारियों को सूचित किया गया।
सीओ अनुज चौधरी ने मीडिय से कहा, “हम एसडीएम और नगर पालिका की टीम के साथ अतिक्रमण के खिलाफ कार्रवाई कर रहे थे। जिन लोगों ने नगर पालिका की भूमि पर निर्माण किया है, उन्हें स्वयं हटाने के निर्देश दिए गए हैं। उसी के पास स्थित एक स्कूल परिसर में जांच के दौरान तेल‑घी समेत अन्य किराने के सामान और गोबर मिले हैं। संचालक का कहना है कि ईद के मौके पर जानवर की कुर्बानी की गई थी। अब इस मामले की गहन जांच की जा रही है।”
सीओ ने आशंका जताई कि स्कूल में पढ़ाई के अलावा कोई अन्य गतिविधि भी चल रही हो सकती है। फ़ोरेंसिक टीम को बुलाकर परिसर से साक्ष्य एकत्र किए जा रहे हैं। जाँच पूरी होते ही संबद्ध धाराओं में मुक़दमा दर्ज कर क़ानूनी कार्रवाई की जाएगी।
नगर पालिका टीम ने वारसी नगर की जिस ज़मीन पर अवैध निर्माण पाया, वहाँ के निवासियों को नोटिस देकर ढाँचा स्वयं हटाने का अंतिम अवसर दिया है। अधिकारियों ने स्पष्ट किया कि तय समयसीमा के बाद अवैध इमारतों पर बुलडोज़र चलेगा और लागत वसूली भी की जाएगी। दूसरी ओर, स्कूल परिसर में सामने आए तथ्यों ने पशु कुर्बानी के लिए निर्धारित नियमों के उल्लंघन, ‘स्कूल भवन के गलत इस्तेमाल’ और बाल‐सुरक्षा मानकों पर भी सवाल खड़े किए हैं।
अनपेक्षित खुलासे के बाद वारसी नगर में अफ़वाहों का बाज़ार गर्म है। दलित एवं हिन्दू संगठनों ने आरोप लगाया कि प्रशासनिक नियमों की अनदेखी ने धार्मिक भावनाएँ आहत की हैं और बच्चों की सुरक्षा दाँव पर लगी है। पुलिस ने अतिरिक्त फोर्स तैनात कर लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है।
अतिक्रमण हटाने का अभियान जब शिक्षा संस्थान के भीतर कथित अवैध ‘कुर्बानी’ के सुबूतों तक पहुँचा, तो मामले ने क़ानून‐व्यवस्था की जटिल परतें खोल दीं। अब प्रशासन के सामने दो बड़ी चुनौतियाँ हैं—पहली, अवैध निर्माण मिटाकर सार्वजनिक भूमि को मुक्त कराना; दूसरी, स्कूल परिसर में हुई संदिग्ध गतिविधियों की निष्पक्ष जाँच कर दोषियों को कठोर दंड दिलाना।
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