पिछले हफ़्ते उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ के दो गाँवों में ‘आई लव मुहम्मद’ लिखे होने के बाद हड़कंप मच गया था। अब, पुलिस ने मंदिरों की दीवारों पर ये शब्द लिखे होने के बाद हुई स्पेलिंग की गलती का खुलासा कर दिया है। पुलिस ने इस मामले में चार लोगों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार लोगों की पहचान दिलीप कुमार, आकाश, अभिषेक सारस्वत और निशांत कुमार के रूप में हुई है। एक अन्य आरोपी राहुल, जो कथित तौर पर मुख्य साजिशकर्ताओं में से एक है, अभी भी फरार है।
पुलिस के अनुसार, आरोपियों ने पिछले शनिवार (25 अक्तूबर) को लोधा क्षेत्र के भगवानपुर और बुलाकीगढ़ गाँवों में विवाद पैदा करने और विरोधियों को फँसाने के लिए मंदिरों की दीवारों को क्षतिग्रस्त कर दिया। जाँच से पता चला है कि आरोपियों ने एक ज़मीन विवाद में शामिल आठ लोगों को झूठा फँसाने के लिए दीवारों पर ये शब्द लिखने की योजना बनाई थी। अलीगढ़ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) नीरज कुमार ने बताया कि वे अपने विरोधियों को तनाव पैदा करने के लिए ज़िम्मेदार ठहराना चाहते थे।
25 अक्टूबर को पुलिस को मामले की सूचना मिली और वह गाँव पहुँची जहाँ मौलवी मुस्तकीम, गुल मोहम्मद, सुलेमान, सोनू, अल्लाहबख्श, हसन, हमीद और यूसुफ के खिलाफ मामला दर्ज किया गया। इसी दौरान, पुलिस को एक स्पेलिंग की गलती नज़र आई और उसे गड़बड़ी का शक हुआ क्योंकि “आई लव मोहम्मद” नारे की स्पेलिंग पिछले महीने बरेली में लगाए गए बैनर से अलग पाई गई।
इसके बाद पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज, कॉल रिकॉर्ड खंगाले और असली दोषियों को पकड़ने के लिए फील्ड इंटेलिजेंस का इस्तेमाल किया। पुलिस ने पाया कि दिलीप कुमार, आकाश, अभिषेक सारस्वत और निशांत कुमार इस साजिश में शामिल थे।
पुलिस ने बताया कि यह मामला चार परिवारों के बीच दो अलग-अलग संपत्ति विवादों से जुड़ा है। पहले मामले में, राहुल का गुल मोहम्मद के परिवार के साथ लंबे समय से संपत्ति विवाद चल रहा था, जिसके कारण पिछले साल झगड़ा भी हुआ था। एसएसपी ने बताया कि दूसरा विवाद मुस्तकीम के परिवार और निशांत कुमार के परिवार के बीच था।
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