मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल के एक निजी कॉलेज में सामने आए कथित ‘लव जिहाद’ और यौन शोषण के गंभीर मामले की जांच के लिए राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग की टीम मौके पर पहुंच गई है। आयोग के सदस्य प्रियंक कानूनगो ने खुद इसकी पुष्टि की है और कहा है कि मामले की गंभीरता को देखते हुए विस्तृत जांच की जाएगी। टीम आगामी दो दिन तक घटनास्थल और पीड़ितों से जुड़े तथ्यों की पड़ताल करेगी।
प्रियंक कानूनगो ने समाचार एजेंसी से बातचीत में कहा, “हमें संगठित अपराध के एक गंभीर मामले की जानकारी मिली है। इसमें तस्करी शामिल है, जिसमें खास तौर पर हिंदू छात्राओं को निशाना बनाया गया, उन्हें नशीला पदार्थ दिया गया और रैगिंग की आड़ में बहका कर यौन शोषण किया गया। उनके वीडियो रिकॉर्ड किए गए और बाद में उनका इस्तेमाल ब्लैकमेल करने और धर्म परिवर्तन के लिए दबाव बनाने के लिए किया गया।” उन्होंने यह भी कहा कि जांच में धर्मांतरण को लेकर किसी फंडिंग की भूमिका से इंकार नहीं किया जा सकता।
यह मामला तब सामने आया जब 18 अप्रैल को एक पीड़िता की शिकायत पर पुलिस ने कॉलेज में सक्रिय एक गिरोह का खुलासा किया। आरोप है कि कॉलेज के छह मुस्लिम छात्रों ने संगठित तरीके से हिंदू लड़कियों को प्रेमजाल में फंसाया, यौन शोषण किया और फिर वीडियो बनाकर उन्हें ब्लैकमेल कर धर्म परिवर्तन का दबाव डाला।
कानूनगो ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर भी इस मुद्दे को लेकर लिखा, “भोपाल में रेगिंग के नाम पर लक्षित कर हिंदू छात्राओं को ग्रूम करके यौन शोषण करने और अश्लील वीडियो बना कर धर्मांतरण के लिए ब्लैकमेल करने के लोमहर्षक कांड की शिकायत की जांच करने के लिए मेरे द्वारा दिए गए निर्देश के आधार पर राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग की जांच टीम भोपाल पहुंच गई है। टीम अगले 2 दिन तथ्यों की जांच करेगी। इस मामले में कोई भी पीड़ित अथवा सजग नागरिक यदि कोई जानकारी देना चाहें तो दे सकते हैं।”
फिलहाल पुलिस और आयोग की टीम इस पूरे मामले की तह तक जाने की कोशिश में जुटी है। आयोग की रिपोर्ट और पुलिस की कार्रवाई के बाद यह स्पष्ट होगा कि इस मामले में कितनी गहराई तक संगठित अपराध फैला हुआ था और इसमें कौन-कौन लोग शामिल थे। स्थानीय स्तर पर मामले ने राजनीतिक और सामाजिक स्तर पर भी गहमागहमी बढ़ा दी है।
यह भी पढ़ें:
युद्ध के लिए तैयार रहें सशस्त्र बल: उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग-उन का आदेश
अनीता आनंद बनीं कनाडा की नई विदेश मंत्री, भारत से रिश्ते सुधारना होगी प्राथमिकता
